अगर गलती से हम फंगस खा गए तब क्या होगा?

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1. अगर गलती से हम फंगस खा गए तब क्या होगा? 

जैसा कि हम सभी जानते हैं कि अगर हम अपने भोजन को खुले में छोड़ दें तब कुछ समय या दिनों बाद भोजन में फंगस लगने लगता है। लेकिन यहां सवाल उठता है कि अगर हम इस प्रकार के भोजन को खा लेते हैं तब हमारे साथ क्या होगा? 



आपको यह जानकर हैरानी होगी कि कोई भी प्रकार का फंगस हमारे शरीर को किसी प्रकार की हानि नहीं पहुंचाती है लेकिन फंगस का यह गुण होता है कि यह अपने आसपास मौजूद बैक्टीरिया को अपनी तरफ आकर्षित करते हैं और यह बैक्टीरिया युक्त फंगस हमारे शरीर के अंदर जाती है तब यह बैक्टीरिया हमें बीमार करने का काम करते हैं। अगर किसी व्यक्ति का इम्यून सिस्टम स्ट्रांग है तो यह बैक्टीरिया युक्त फंगस एक से दो बार शरीर को नुकसान नहीं पहुंचाएगा। लेकिन अगर हम बार-बार फंगस लगे भोजन को खाएं तब उनमें लगे बैक्टीरिया Mycotoxins नाम के जहर का निर्माण करने लगते हैं जिसकी वजह से हमें उल्टी, दस्त जैसी समस्या होने लगती है। इसलिए कभी भी हमें फंगस लगे भोजन का सेवन नहीं करना चाहिए।

2. वर्कआउट करने के बाद नसे बाहर क्यों आ जाती है? 

आपने कभी ना कभी यह नोटिस जरूर किया होगा कि जब भी कोई इंसान काफी लंबे समय तक वर्कआउट करता है तब उसके शरीर की नसें बाहर आ जाती है, लेकिन आखिर ऐसा क्यों होता है? 



Humans के शरीर के नीचे वसा की एक परत होती है जिसके नीचे धमनियों का जाल बिछा होता है और जाल के ठीक नीचे होती है मसल्स। जैसे ही हम अपने मसल्स को स्ट्रांग करने के लिए भारी भारी वजन उठाते हैं तो उस समय हमारे मसल्स को बड़ी मात्रा में ऑक्सीजन और न्यूट्रिशन्स की जरूरत होती है और जैसा कि हम सब जानते हैं कि ब्लड हमारे शरीर में ऑक्सीजन और न्यूट्रिशंस को सप्लाई करता है। इस कंडीशन में जिस समय कोई इंसान वर्कआउट के समय भारी चीजों को उठाता है तो दिमाग शरीर के उस भाग में ऑक्सीजन के लेवल को बढ़ाने के लिए खून के प्रवाह को तेज कर देता है। जिसके बाद इस ब्लड को हर्ट तक लाने का काम धमनियों का होता है और धमनिया ब्लड को उस स्पीड के साथ Heart तक नहीं ला पाती जिस स्पीड से ब्लड मसल्स तक पहुंचता है। जिससे धमनियों में दबाव उत्पन्न होता है इसी दबाव की वजह से धनिया एक समय के बाद सूखने लगती है जिसे चिकित्सकीय भाषा में फिल्ट्रेशन के नाम से जाना जाता है।

अब कोई इंसान काफी लंबे समय से वर्कआउट करता आ रहा है, जिससे skin के नीचे फैट की लेयर धीरे धीरे कम हो जाती है और नसें उभरने लग जाती हैं। यही वह कारण है कि ज्यादा लंबे समय और भारी वर्कआउट करने से इंसान की नसें बाहर दिखने लगती है।

3. ज्यादातर मोबाइल के Earphone Jack को लेफ्ट साइड में ही क्यों दिया जाता है? 

वर्तमान में मार्केट में मौजूद अधिकतर कंपनीज के मोबाइल के ईयरफोन जैक को लेफ्ट साइड में दिया जाता है, लेकिन आखिर ऐसा क्यों? 

Earphone Jack को लेफ्ट साइड रखने के concept को सबसे पहले एप्पल कंपनी के द्वारा अपनाया गया था। वहां से एप्पल कंपनी ने अपने मोबाइल के ईयरफोन जैक को ऊपर और राइट साइड से हटाकर लेफ्ट साइड देना शुरू कर दिया। ऐसा सिर्फ Human Psychology और लोगों के comfort के लिए किया गया।



जैसा कि हम सभी जानते हैं कि पूरी दुनिया में लगभग 90% लोग right-handed होते हैं और यह लोग अपने फोन का इस्तेमाल अपने राइट हैंड से करते हैं। अब अगर हम कहीं ईयर फोन जैक को राइट साइड में रखते हैं तब मोबाइल यूज़ करते समय अपना एयरफोन का वायर हमारी हाथों से टच होगा और यही वह सबसे बड़ा कारण है जिससे चलते हमारे फोन की Gripping ऊपर में ज्यादा अच्छे से नहीं बन पाएगी। इसलिए सबसे पहली बार apple ने अपने ईयरफोन जैक को लेफ्ट साइड में देना शुरू कर दिया था। इसी concept की वजह से लोगों को एप्पल फोन इतना कंफर्ट लगने लगा कि एप्पल फोन लोगों की फर्स्ट priority बनने लगी। 

इस ट्रेंड को फॉलो करते हुए अब बहुत सारी कंपनी ने ईयरफोन जैक को लेफ्ट साइड में देना शुरू कर दिया।



नानकुन टुरी कोकानी असन पेट,
कहां जाबे टुरी रतनपुर देस।।


उत्तर :- नारियल

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